DEHRADUN: ऋषिकेश के गंगा तट पर ऐतिहासिक सौंदर्यीकरण की दिशा में एक और कदम बढ़ाते हुए शारदा पीठ घाट और मीराबेन घाट (वीरभद्र) के निर्माण कार्य की शुरुआत हो गई है। कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने रविवार, 2 मार्च को 6.61 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले घाटों का भूमि पूजन कर कार्य का शुभारंभ किया। इस मौके पर उन्होंने कहा कि यह घाट न केवल मां गंगा के प्रति श्रद्धालुओं की आस्था को मजबूती देंगे, बल्कि ऋषिकेश के पर्यटन को भी नया आयाम देंगे।
ऋषिकेश के सौंदर्यीकरण की नई परिभाषा
पशुलोक बैराज के डाउन स्ट्रीम की ओर गंगा के दाहिने तट पर बनने वाले शारदा पीठ घाट और मीराबेन घाट से स्थानीय लोगों और पर्यटकों को विशेष लाभ मिलेगा। मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने कहा कि ऋषिकेश विधानसभा उनका परिवार है और यहां विकास कार्यों में किसी तरह की भेदभाव की गुंजाइश नहीं है।
सरकार की प्राथमिकता: विकासवाद, न कि क्षेत्रवाद
उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार विकासवादी राजनीति में विश्वास रखती है, न कि क्षेत्रवाद की संकीर्ण सोच में। समान नागरिक संहिता, सख्त भू-कानून, नकल विरोधी कानून और दंगा विरोधी कानून जैसे फैसलों का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि ये सब जनहित की भावना को ध्यान में रखते हुए लागू किए गए हैं।
क्या मिलेगा घाटों के निर्माण से?
आस्था को नया आधार – श्रद्धालु गंगा आरती और पूजन-अर्चन में बेहतर सुविधा पाएंगे।
पर्यटन को मिलेगा बढ़ावा – घाटों का सौंदर्यीकरण ऋषिकेश के पर्यटन में इजाफा करेगा।
समारोहों की होगी आसान मेजबानी – धार्मिक और सांस्कृतिक आयोजनों के लिए एक उपयुक्त स्थान उपलब्ध होगा।
मंत्री ने आश्वासन दिया कि सरकार भविष्य में भी ऋषिकेश के विकास को नई ऊंचाइयों तक ले जाने के लिए प्रतिबद्ध है। स्थानीय लोगों में भी इस पहल को लेकर उत्साह देखने को मिल रहा है।