“ब्रुनेई दौरे पर पीएम मोदी की सुल्तान हसनल बोल्किया से मुलाकात, एक्ट ईस्ट नीति में मजबूत साझेदारी और चीन को कड़ा संदेश”

रायटर। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को अपने ब्रुनेई दौरे के दौरान सुल्तान हाजी हसनल बोल्किया के साथ द्विपक्षीय बैठक की। दोनों नेताओं ने राजनयिक संबंधों के 40 वर्ष पूरे होने का जश्न मनाते हुए भारत और ब्रुनेई के बीच दोस्ती और सांस्कृतिक संबंधों को मजबूत करने पर जोर दिया। बैठक के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने अप्रत्यक्ष रूप से चीन को भी कड़ा संदेश देते हुए कहा कि भारत और ब्रुनेई की साझेदारी क्षेत्रीय शांति और स्थिरता के लिए महत्वपूर्ण है।

ब्रुनेई, एक्ट ईस्ट नीति का अहम साझेदार

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि ब्रुनेई, भारत की एक्ट ईस्ट नीति और इंडो-पैसिफिक विजन में एक महत्वपूर्ण भागीदार है। उन्होंने कहा, “हमारी साझेदारी हमारे उज्ज्वल भविष्य की गारंटी है, जो पारस्परिक सम्मान और सांस्कृतिक परंपराओं पर आधारित है। मेरी इस यात्रा और हमारी चर्चाएं आने वाले समय में हमारे संबंधों को एक नई रणनीतिक दिशा देंगी।”

सांस्कृतिक परंपराओं और मित्रता पर जोर

पीएम मोदी ने दोनों देशों के बीच ऐतिहासिक और सांस्कृतिक संबंधों का जिक्र करते हुए कहा कि भारत और ब्रुनेई के बीच दोस्ती का आधार महान सांस्कृतिक परंपराओं में निहित है। उन्होंने कहा कि दोनों देश एक-दूसरे की संस्कृति और परंपराओं का सम्मान करते हैं, जो द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूत बनाता है।

चीन को कड़ा संदेश

बैठक के दौरान पीएम मोदी ने इशारों-इशारों में चीन को भी खरी-खरी सुनाई, जिसमें उन्होंने इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में शांति और स्थिरता की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि भारत और ब्रुनेई की साझेदारी क्षेत्रीय सुरक्षा और आर्थिक विकास के लिए अहम है, और यह सहयोग इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में स्वतंत्रता और समृद्धि के हमारे साझा दृष्टिकोण को साकार करने में मदद करेगा।

संबंधों में नए अध्याय की शुरुआत

पीएम मोदी की यह यात्रा भारत और ब्रुनेई के बीच द्विपक्षीय संबंधों को नए आयाम देने की दिशा में महत्वपूर्ण मानी जा रही है। ब्रुनेई के सुल्तान हसनल बोल्किया ने भी भारत के साथ आर्थिक और सांस्कृतिक संबंधों को और गहरा करने पर सहमति जताई। दोनों देशों ने ऊर्जा, रक्षा, और व्यापार सहित विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने की प्रतिबद्धता जताई है, जिससे द्विपक्षीय संबंधों को एक नई गति मिल सकेगी।

 

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