TMP : पौड़ी में नगर पालिका चुनाव से पहले भाजपा में बगावत पर बिजली गिर पड़ी है। पार्टी ने अनुशासन तोड़कर निर्दलीय चुनाव लड़ रहे 9 नेताओं को 6 साल के लिए बाहर का रास्ता दिखा दिया है। यह कार्रवाई पार्टी में अनुशासन और एकता बनाए रखने के लिए की गई है।
बगावत का जवाब सख्ती से
पार्टी के अधिकृत प्रत्याशियों के खिलाफ चुनाव मैदान में उतरे पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष केसर सिंह नेगी, वीरा भंडारी, कुसुम चमोली, प्रियंका थपलियाल समेत कई नेताओं पर कार्रवाई की गई है। इसके साथ ही वार्डों से चुनाव लड़ रहे शुभम रावत, दिनेश बिष्ट, राकेश गौशाली, रंजना और प्रियंका बहुगुणा को भी भाजपा से निष्कासित कर दिया गया है।
प्रदेश अध्यक्ष के निर्देश पर बड़ी कार्रवाई
पार्टी के कार्यकारी जिलाध्यक्ष कमल रावत ने कहा, “प्रदेश अध्यक्ष के निर्देश पर यह कदम उठाया गया है। जो लोग पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल हैं, उनकी पहचान कर सख्त कार्रवाई जारी रहेगी।”
संघर्ष के बावजूद हाथ नहीं छोड़ना चाहती पार्टी
हालांकि, भाजपा ने यह भी स्पष्ट किया है कि पार्टी किसी योग्य कार्यकर्ता को खोना नहीं चाहती। बागियों को मनाने और पार्टी के चुनाव प्रचार में शामिल करने के प्रयास जारी हैं।
चुनाव से पहले सख्ती का संदेश
पौड़ी नगर पालिका चुनाव में यह कार्रवाई भाजपा के लिए चेतावनी और संदेश दोनों है कि अनुशासन तोड़ने वालों को बख्शा नहीं जाएगा। लेकिन बड़ा सवाल यह है कि क्या यह सख्ती पार्टी की एकता को बचा पाएगी या बगावत की चिंगारी और नेताओं को अपने साथ ले जाएगी?