देहरादून: शिक्षा और शोध के क्षेत्र में नए आयाम स्थापित करने के लिए श्री गुरु राम राय विश्वविद्यालय (एसजीआरआर) और डीएवी (पीजी) कॉलेज, देहरादून ने मंगलवार को ऐतिहासिक समझौता किया। एसजीआरआर विश्वविद्यालय के पथरीबाग कैंपस में आयोजित इस एमओयू सेरेमनी में दोनों संस्थानों ने मिलकर योग, मानविकी और गढ़वाली भाषा के प्रचार-प्रसार के साथ-साथ स्टूडेंट एक्सचेंज और अन्य शैक्षणिक गतिविधियों पर काम करने का संकल्प लिया।
गढ़वाली भाषा को मिलेगा बढ़ावा:
समझौते के तहत दोनों संस्थान गढ़वाली भाषा और संस्कृति के संरक्षण और विकास के लिए संयुक्त प्रयास करेंगे। साथ ही, मानविकी और सामाजिक विज्ञान के क्षेत्र में शोध और रचनात्मक गतिविधियों को प्राथमिकता दी जाएगी।
नेतृत्व का संकल्प:
एसजीआरआर यूनिवर्सिटी की कुलपति प्रो. (डॉ.) कुमुद सकलानी ने कहा कि यह साझेदारी छात्रों और शैक्षणिक संस्थानों के लिए नए अवसरों का द्वार खोलेगी। डीएवी कॉलेज के प्राचार्य प्रो. (डॉ.) सुनील कुमार ने इस पहल को शिक्षा के क्षेत्र में मील का पत्थर बताया और इसे विस्तार देने की बात कही।
साझा प्रयासों पर सहमति:
कार्यक्रम के दौरान एमओयू कन्वीनर प्रो. (डॉ.) हरबीर सिंह रंधावा ने एक साझा कमेटी बनाने का सुझाव दिया, जिसे सभी अधिकारियों ने स्वीकार किया। एसजीआरआर विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार डॉ. लोकेश गंभीर ने संयुक्त प्रोजेक्ट्स पर काम करने की महत्ता पर जोर दिया।
कार्यक्रम में शिक्षाविदों की मौजूदगी:
इस ऐतिहासिक अवसर पर दोनों संस्थानों के वरिष्ठ अधिकारियों और शिक्षाविदों ने अपनी उपस्थिति दर्ज कराई। एसजीआरआर की ओर से डॉ. गीता रावत, डॉ. सुनील किस्टवाल, और मनोज जगूड़ी, जबकि डीएवी कॉलेज की ओर से डॉ. ओनीमा शर्मा, डॉ. प्रशांत सिंह, और डॉ. रंजना रावत मौजूद रहीं।
यह साझेदारी न केवल शिक्षा के क्षेत्र में एक नई शुरुआत करेगी, बल्कि उत्तराखंड की सांस्कृतिक और शैक्षणिक धरोहर को भी मजबूती प्रदान करेगी।