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मुख्यमंत्री धामी की पहल: मद्महेश्वर धाम का विकास और गौरीकुंड स्थित मां गौरी मंदिर का होगा सौंदर्यीकरण

 

उत्तराखंड सरकार पंचकेदारों में से द्वितीय केदार मद्महेश्वर धाम के विकास और केदारनाथ धाम के अंतिम मोटर पड़ाव गौरीकुंड में स्थित मां गौरी मंदिर के सौंदर्यीकरण के लिए तैयारियों में जुट गई है। बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति (बीकेटीसी) के मीडिया प्रभारी हरीश गौड़ ने बताया कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की घोषणा के अनुसार, इन धार्मिक स्थलों को आधुनिक सुविधाओं से सजाया जाएगा।

विकास और सौंदर्यीकरण के लिए तैयार होगी विस्तृत परियोजना रिपोर्ट

राज्य सरकार के धर्मस्व और संस्कृति विभाग ने मद्महेश्वर धाम के विकास और मां गौरी मंदिर के सौंदर्यीकरण के लिए संस्कृति विभाग के निदेशक को आदेश जारी किए हैं। इस क्रम में लोक निर्माण विभाग को कार्यदायी संस्था के रूप में नामित किया गया है, जो बीकेटीसी के साथ मिलकर इन स्थलों के विकास के लिए विस्तृत परियोजना आख्या (डीपीआर) तैयार करेगी।

बीकेटीसी अध्यक्ष ने मुख्यमंत्री धामी का आभार व्यक्त किया

बीकेटीसी अध्यक्ष अजेंद्र अजय ने मद्महेश्वर धाम के विकास और गौरीकुंड के मां गौरी मंदिर के सौंदर्यीकरण की योजना के लिए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि इस योजना से तीर्थयात्रियों और श्रद्धालुओं की संख्या में वृद्धि होगी, जिससे स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे।

मद्महेश्वर धाम: तीर्थ और रोजगार का संगम

मद्महेश्वर धाम, जो रुद्रप्रयाग जिले के ऊखीमठ विकासखंड में 3,497 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है, पंच केदारों में द्वितीय केदार के रूप में प्रतिष्ठित है। इस मंदिर में भगवान शिव के नाभि रूप की पूजा होती है। यहां तक पहुंचने के लिए श्रद्धालुओं को 14 किमी की कठिन पैदल यात्रा करनी पड़ती है। मंदिर का प्रबंधन बीकेटीसी द्वारा किया जाता है।

मां गौरी मंदिर का होगा सौंदर्यीकरण

मां गौरी का मंदिर केदारनाथ धाम के अंतिम मोटर स्टेशन गौरीकुंड में स्थित है। केदारनाथ धाम की यात्रा करने वाले श्रद्धालु यहां मां गौरी के दर्शन के बाद अपनी यात्रा पर निकलते हैं। इस मंदिर के सौंदर्यीकरण की योजना से यात्रियों को बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी।

 

 
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